इसलाम पर कुछ तथ्य

इसलाम धर्म में हिजरी कैलेंडर को मान्यता है । इसकी शुरुआत 622 ई में हुई थी । इसी वर्ष पैगम्बर मोहम्मद का आगमन मक्का से मदीना में हुआ था ।
हिजरी में 12 महीने होते हैं जो चंद्रमा के परिक्रमण पर आधारित हैं । हिजरी वर्ष में 354 या 355 दिन होते हैं ।
रमजान का महीना (9 वां महीना) उन 12 महीनों में सबसे पवित्र है, जिसमें दिन के उजाले के दौरान खाना-पीना वर्जित है। ऐसा माना जाता है कि इसी महीने में पैगंबर को कुरान की पहली आयतें बताई गई थीं।
रमजान-ईद या ईद-उल-फितर इस्लामिक कैलेन्डर के 10 वें महीने शव्वाल के पहले दिन मनाई जाती है ।
ईद-ए-मिलाद पैगंबर मोहम्मद के जन्म के जश्न का त्योहार है ।
मोहर्रम शियाओं के लिए शोक का दिन है, हुसैन अली की मृत्यु का शोक मनाते हैं।
मोहर्रम इस्लामी कैलेंडर का पहला महीना भी है। शोक का दिन, मोहर्रम महीने के 10 वें दिन पड़ता है ।
ईद-उ-ज़ुहा या बकरीद, त्योहार के जश्न के पीछे की कहानी यह है कि अब्राहम को भगवान द्वारा अपने बेटे इस्माईल को बलिदान करने का आदेश दिए जाने पर अब्राहम ने अपने आँखों पर पट्टी बाँध ली थी । जब बलिदान के बाद उसने अपनी पट्टी खोली तो उसका बेटा सुरक्षित और बलिवेदी पर मेढ़ा मृत पड़ा था ।
हज, मक्का की तीर्थयात्रा, इस्लामी अलेंडर के आखिरी महीने, धु-अल-हिज्जा के महीने में की जाती है। इसी महीने के 10 वें दिन बकरीद मनाई जाती है ।
इस्लाम के पांच महत्वपूर्ण सिद्धांत जो हर धर्मनिष्ठ मुसलमान पालन करने के लिए बाध्य हैं
  1. दिन में पांच बार नमाज अदा करना
  2. यह मानना कि अल्लाह के अलावा कोई ईश्वर नहीं है
  3. अपने जीवन काल में कम से कम एक बार मक्का जाना यानी हज करना
  4. गरीबों को भिक्षा देना
  5. रमजान के महीने में उपवास रखना

भारत की प्रसिद्ध दरगाहें

दरगाहस्थान
शेख सलीम चिश्ती की दरगाह फतेहपुर सीकरी, उत्तर प्रदेश में आगरा के पास
हाजी अली की दरगाह वर्ली, मुंबई
मोइनुद्दीन चिश्ती की दरगाह राजस्थान में अजमेर
ख्वाजा निज़ामुद्दीन अवलिया की दरगाह दिल्ली




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